पुरखे जगत से कभी विदा नहीं होते , संतति के कण कण में रचे बसे होते हैं! पुरखे जगत से कभी विदा नहीं होते , संतति के कण कण में रचे बसे होते हैं!
हां,वादों को निभाने में वक्त तो लगता है। अनचाहे पन्नों को पढ़ने में वक्त तो लगता है। हां,वादों को निभाने में वक्त तो लगता है। अनचाहे पन्नों को पढ़ने में वक्त तो ल...
भारत का स्वाभिमान सैनिक जवान।। भारत का स्वाभिमान सैनिक जवान।।
तुम्हें सुनना है अंतस की आवाज़ रखना है ख़ुद पर विश्वास।। तुम्हें सुनना है अंतस की आवाज़ रखना है ख़ुद पर विश्वास।।
समय को लिख नहीं पाया तो लेखन हार जायेगा। समय को लिख नहीं पाया तो लेखन हार जायेगा।
यह बात तो, किसी के भी समझ ना आई है यह बात तो, किसी के भी समझ ना आई है